हमारे सनातन हिन्दू धर्म में अग्नि को देवता माना गया है । कोई भी हवन पूजन आदि शुभ कार्य बिना अग्नि के संपन्न
नहीं होता। आइये जाने अग्नि की पांच प्रमुख अंग किन स्थानों को कहते है:-
1 जिस भाग में काष्ठा हो - कर्ण।
2 कम जलने वाला भाग - नेत्र।
3 धुँआ वाला भाग - नासिका।
4 अंगारो वाला भाग - मस्तक।
5 अग्निशिखा वाला भाग - मुख।
नहीं होता। आइये जाने अग्नि की पांच प्रमुख अंग किन स्थानों को कहते है:-
1 जिस भाग में काष्ठा हो - कर्ण।
2 कम जलने वाला भाग - नेत्र।
3 धुँआ वाला भाग - नासिका।
4 अंगारो वाला भाग - मस्तक।
5 अग्निशिखा वाला भाग - मुख।
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